tag:blogger.com,1999:blog-8828563751356555135.post3400743322739242988..comments2023-10-18T19:02:38.965+05:30Comments on *काव्य-कल्पना*: अदृश्य तुम मेरे सदृशEr. सत्यम शिवमhttp://www.blogger.com/profile/07411604332624090694noreply@blogger.comBlogger12125tag:blogger.com,1999:blog-8828563751356555135.post-74386419163222793662011-04-02T17:32:14.920+05:302011-04-02T17:32:14.920+05:30bahut sunder adyatmik abhivyakti ....!!bahut sunder adyatmik abhivyakti ....!!Anupama Tripathihttps://www.blogger.com/profile/06478292826729436760noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8828563751356555135.post-66299257070052285222011-04-02T11:34:40.934+05:302011-04-02T11:34:40.934+05:30यह अदृश्य की ही अनुकम्प्पा है जो एहसास होता है की ...यह अदृश्य की ही अनुकम्प्पा है जो एहसास होता है की कोई साथ है ...सुन्दर भावसंगीता स्वरुप ( गीत )https://www.blogger.com/profile/18232011429396479154noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8828563751356555135.post-22401504539986687022011-04-02T11:11:41.602+05:302011-04-02T11:11:41.602+05:30खुशियों के पल में आनंद तू,
दुख में भी हृदय तक जो ल...खुशियों के पल में आनंद तू,<br />दुख में भी हृदय तक जो ले छू,<br />एकांत में भी मेरे विचार बन,<br />भीड़ में भी तन्हा सा होता था मन!<br />bahut hi badhiyaaरश्मि प्रभा...https://www.blogger.com/profile/14755956306255938813noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8828563751356555135.post-30980878158109762011-04-02T08:08:30.179+05:302011-04-02T08:08:30.179+05:30समक्ष मेरे तुम हर क्षण,हर पल,
रहते हो क्यों ऐसे अद...समक्ष मेरे तुम हर क्षण,हर पल,<br />रहते हो क्यों ऐसे अदृश्य? <br />कई बार हुआ एहसास मुझे,<br />तुम रहते मेरे पास सदा,<br /><br />आध्यात्मिक भावों की कविताओं को पढने का एक अलग ही आनंद है,सुन्दर काव्य प्रस्तुतिAnonymoushttps://www.blogger.com/profile/18094849037409298228noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8828563751356555135.post-34561730762847560852011-03-30T01:08:29.011+05:302011-03-30T01:08:29.011+05:30खुशियों के पल में आनंद तू,
दुख में भी हृदय तक जो ल...खुशियों के पल में आनंद तू,<br />दुख में भी हृदय तक जो ले छू,<br />एकांत में भी मेरे विचार बन,<br />भीड़ में भी तन्हा सा होता था मन.....<br /><br /><br />सुन्दर कविता.. <br />बेहद कोमल सुंदर रचना और सुंदर भाव !Dr (Miss) Sharad Singhhttps://www.blogger.com/profile/00238358286364572931noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8828563751356555135.post-48373334916315304882011-03-30T00:20:59.641+05:302011-03-30T00:20:59.641+05:30अदृश्य तुम मेरे सदृश,
अंतर-नैनों से दिखती जो छवि,...अदृश्य तुम मेरे सदृश,<br /> अंतर-नैनों से दिखती जो छवि,<br /> स्वर्ग के द्वार का कोई दृश्य,<br /> समक्ष मेरे तुम हर क्षण,हर पल,<br /> रहते हो क्यों ऐसे अदृश्य? <br />कई बार हुआ एहसास मुझे,<br /> तुम रहते मेरे पास सदा,<br /><br /><br />संवेदनाओं से भरी बहुत सुन्दर कविता...Dr Varsha Singhhttps://www.blogger.com/profile/02967891150285828074noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8828563751356555135.post-44950259699152711032011-03-29T22:20:29.692+05:302011-03-29T22:20:29.692+05:30कई बार हुआ एहसास मुझे,
तुम रहते मेरे पास सदा,
कुछ ...कई बार हुआ एहसास मुझे,<br />तुम रहते मेरे पास सदा,<br />कुछ कमी थी मेरे जीवन में,<br />थे जो तुम मुझसे जुदा-जुदा!...<br /><br />Lovely lines !<br /><br />.ZEALhttps://www.blogger.com/profile/04046257625059781313noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8828563751356555135.post-19077806329650272011-03-29T14:56:15.397+05:302011-03-29T14:56:15.397+05:30सदैव के समान सुन्दर काव्य प्रस्तुति ।सदैव के समान सुन्दर काव्य प्रस्तुति ।Sushil Bakliwalhttps://www.blogger.com/profile/08655314038738415438noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8828563751356555135.post-20872052116532862902011-03-29T14:27:31.557+05:302011-03-29T14:27:31.557+05:30है अदृश्य का हाथ हमारे ऊपर।है अदृश्य का हाथ हमारे ऊपर।प्रवीण पाण्डेयhttps://www.blogger.com/profile/10471375466909386690noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8828563751356555135.post-19478098817158421832011-03-29T10:52:28.143+05:302011-03-29T10:52:28.143+05:30आध्यात्मिक भाव लिए सुंदर रचना।आध्यात्मिक भाव लिए सुंदर रचना।मनोज कुमारhttps://www.blogger.com/profile/08566976083330111264noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8828563751356555135.post-14322204511303115642011-03-29T08:41:13.716+05:302011-03-29T08:41:13.716+05:30आध्यात्मिक भावों से सराबोर आपकी कविता मन में ईश भ...आध्यात्मिक भावों से सराबोर आपकी कविता मन में ईश भक्ति का दृढ विशवास पैदा करती है..ईश्वर की सत्ता को पूरे जगत में स्वीकार करती है .. .आपकी कविताओं को पढने का एक अलग ही आनंद है ...आपका आभारकेवल रामhttps://www.blogger.com/profile/04943896768036367102noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8828563751356555135.post-9282341275422123312011-03-29T08:38:06.950+05:302011-03-29T08:38:06.950+05:30"अदृश्य तुम मेरे सदृश" bahut -sundar par..."अदृश्य तुम मेरे सदृश" bahut -sundar paribhashit,rachana apko bahut bahut badhai...<br />saadar <br />laxmi narayan lahare <br />kosirLAXMI NARAYAN LAHAREhttps://www.blogger.com/profile/10139994765504896386noreply@blogger.com